फिल्मी दुनियां की ही तरह असल ज़िन्दगी में भी कई उतार चढ़ाव आते हैं, फर्क बस इतना होता है कि पर्दे (Reel life) पर सब कुछ खुद ब खुद ठीक हो जाता है जबकि व्यक्तिगत हालातों (Personal life) में इसे हमें ही ठीक करना पड़ता है. एक ही समाज में रहने के कारण व्यक्ति कई लोगों से मिलता है, नए रिश्ते बनाता है और कई बार यही रिश्ते एक खास तरह का भावनात्मक लगाव (Emotional Attachment) पैदा कर देते हैं.
हम सबकी ज़िन्दगी में एक शख्स ऐसा ज़रूर होता है जिससे हमारा खास जुड़ाव (Attachment) हो जाता है, पर कभी-कभी ऐसी घटनाएं घटती हैं जिसकी वजह से हमें उस व्यक्ति के बिना ही रहना पड़ता है. इसका सबसे बड़ा कारण आजकल की भागती-दौड़ती जीवनशैली है (Lifestyle) , जिसके चलते लोगों में संयम (Patience) की कमी होने लगी है. थोड़े से विवाद (Dispute) के होते ही व्यक्ति अपना आपा खो देता है जिसके कारण संबंध विच्छेद (Break up) हो जाता है, तो कभी इसकी वजह किसी एक की या कभी दोनों की ही गलती बनती है. इसके अलावा आपसी सहमति (Mutual consent) से भी लोग एक दूसरे से मुंह मोड़ लेते हैं.
पर जो रिश्ते (Relationship)आपके लिए इतनी अहमियत रखते हों उन्हें भूलना कभी-कभार काफी मुश्किल हो जाता है. ऐसे में व्यक्ति धीरे-धीरे सबसे कट जाता है और आखिरकार अवसाद (Depression) ग्रसित हो जाता है. ऐसे हलात आने से पहले यह ध्यान रखना चाहिए कि जिन्दगी का कारवां चलता ही रहता है, किसी के आने या जाने से कुछ नही रुकता तो ऐसे में हार मान कर बैठ जाना किसी समस्या का समाधान या हल नहीं है.
ध्यान दें कि शुरूआती बदलाव में कुछ मुश्किलें (Obstacles) जरूर आती हैं पर खुश रहने की कोशिश करना ही खुशहाल जीवन की तरफ पहला कदम है. अपने बीते हुए कल को भुला कर, नज़रें हमेशा आने कल पर रखना ही जीने का सकारात्मक रवैया(Positive Attitude) है. बीते हुए कल को न तो बदला जा सकता है और न ही उसे मिटाया जा सकता है. आपके पास सिर्फ एक विकल्प रह जाता है कि उसे भूल जाएं. माना कि यह भी इतना आसान नहीं है पर इतना मुश्किल भी नहीं की इस ओर ध्यान ही ना दिया जाए. जरूरत है तो बस कुछ वक्त के लिये ही सही, अपने बारे में सोचने की, अपनी खुशियों की अहमियत समझने की और जब एक बार आपको यह समझ में आ जाएगा कि आपकी खुशी आपके लिए और उन लोगों के लिए जो आपसे प्यार करते हैं, कितनी महत्वपूर्ण है तो फिर खुश रहना आसान होने के साथ-साथ और अधिक आकर्षक (Attractive) हो जएगा.
अंत में बस इतना कहना ही काफी होगा कि ज़िन्दगी बहुत खूबसूरत है, बस इसे जीने का सही तरीका आना चहिए.
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