बिगड़ती जीवनशैली और उथल-पुथल भरी दिनचर्या का सीधा दुष्परिणाम आम जन के स्वास्थ्य पर पड़ता दिखाई देता है. ब्लड-प्रेशर, थकान, लगातार होने वाला सिर दर्द और मधुमेह कुछ ऐसे रोग हैं जो एक बार पीछे पड़ जाएं तो फिर आसानी से पीछा नहीं छोड़ते. खानपान पर नजर रखकर आप अपने ब्लड प्रेशर पर तो नियंत्रण रख सकते हैं लेकिन जब बात मधुमेह की आती है तो यह एक ऐसी बीमारी है जो पूरी जिंदगी आपका पीछा नहीं छोड़ती. जिसके परिणाम स्वरूप आपको पूरी जिन्दगी संभल-संभलकर चलना पड़ता ताकि आप कहीं कुछ ऐसा ना खा लें जिससे आपकी सेहत बिगड़ जाए.
मधुमेह, शुगर या डायबटीज तीनों ही नाम एक ऐसी बीमारी के हैं जिससे ग्रसित होने के बाद आप उम्रभर के लिए ना तो अपनी मर्जी का कुछ खा पाते हैं और ना ही आप हर चीज का खुलकर आनंद उठा पाते हैं. लेकिन हम आपको कुछ ऐसे आसान टिप्स बताने जा रहे हैं जिनके अनुसार आप जीवन को फिर एक बार सजीव बना सकते हैं:
स्वस्थ जीवनशैली: मधुमेह से पीड़ित लोगों समेत सभी के लिए स्वस्थ जीवनशैली बहुत जरूरी है. आप सभी को अपने खानपान पर नियंत्रण रखना चाहिए और अगर आपको अपना जीवन डायबटीज जैसी बीमारी के साथ बिताना है तो आपको थोड़ा संभलकर रहना होगा. आपको अपने दिमाग को इस बात के लिए राजी करना होगा कि अब खुद को स्वस्थ रखना आपकी जिम्मेदारी है और यकीन मानिए खुद को तैयार कर लेने के बाद कोई भी काम मुश्किल नहीं रह जाता.
डाइट में बदलाव: अगर आप मधुमेह पीड़ित हैं तो आपको अपनी डाइट में कुछ बदलाव तो करने ही होंगे. अब ये बदलाव कैसे होंगे और किन-किन नई सामग्रियों को आपको अपनी डाइट में शामिल करना है यह बात आपको आपके डॉक्टर बताएंगे.
लोगों से मिलें: अगर आपके परिवार या आस-पड़ोस में कोई भी ऐसा व्यक्ति है जिसे मधुमेह है तो आपको उनसे मिलना चाहिए, उनसे बात करनी चाहिए, जिससे कि आपको इस बीमारी से जुड़े कुछ अन्य बातों और तथ्यों के बारे में पता चल पाए.
भविष्य के बारे में सोचें: मधुमेह का पता लगने के बाद जरूरी हो जाता है इस बीमारी को गंभीरता से लेना और उसी के अनुसार भविष्य के बारे में प्लान करना.
नियमित देखभाल: एक बार मधुमेह का पता लगने के बाद आपको रेगुलर चेक-अप करना, नियमित तौर पर दवाई लेना और डॉक्टर के संपर्क में रहना बहुत जरूरी होता है इसलिए आपको इस बात को कभी नहीं भूलना चाहिए.
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